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बांग्लादेश में नहीं थम रहा आरक्षण पर बवाल! जेल से सैकड़ों कैदी छुड़ा ले गए प्रदर्शनकारी, जानें

बांग्लादेश विरोध: बांग्लादेश अभी भी सलग रहा है। स्थान-स्थान पर प्रदर्शन और राक्षसों ने देश के बुरे हालात बताए हैं। आम लोगों की जिंदगी पर इसका बुरा असर देखने को मिल रहा है। बांग्लादेश में शुक्रवार (19 जुलाई) को भी प्रदर्शनकारियों और हिंसक विरोध प्रदर्शन जारी है। पुलिस के एक अधिकारी ने दावा किया कि कई लोगों ने नर्सिंग की सेंट्रल जेल पर हमला कर दिया और वहां से सैकड़ों की संख्या में लोगों को बाहर निकाल लिया, जिसके बाद उन्हें आग लग गई।

बांग्लादेश सिविल सेवा भर्ती नियमों के खिलाफ़ विरोध प्रदर्शन जारी है जिसमें अब तक 64 लोगों की मौत हो चुकी है। शुक्रवार को पुलिस ने गैस के गोले दागे और गैस के गोले दागे। राजधानी ढाका में एक साथ किसी भी लोगों के भोजन पर पूरी तरह से रोक लगा दी गई है। करीब 17 करोड़ से ज्यादा आबादी वाले बांग्लादेश में करीब 3 करोड़ से ज्यादा लोग शामिल हैं.

जेल पर हमला करके सैकड़ों कैदियों को ले जाया गया

एक पुलिस अधिकारी ने न्यूज एजेंसी एएफपी को बताया कि कर रहे छात्रों ने नर्सिंग सेंट्रल जेल पर हमला कर दिया और उन्हें यहां सैकड़ों कैदियों को ले जाया गया। उन्होंने जेल में आग भी लगाई। जेल अधिकारी ने कहा कि उन्हें जेलों की संख्या का तो पता नहीं है, लेकिन उनकी संख्या सैकड़ों थी।

प्रदर्शन के बीच संचार बाधित हुआ

शुक्रवार को पूरे देश में सरकारी कार्यालयों में हिंसक विरोध प्रदर्शन जारी है। हिंसा को बढ़ावा न मिले इसलिए अधिकारियों ने 18 जुलाई को ही मोबाइल सेवा पूरी तरह से बंद कर दी थी। इस दौरान विदेश से आने वाली कई कॉल्स कनेक्टेड नहीं हो पा रही थी। इसके साथ ही इंटरनेट कॉलिंग भी बंद कर दी गई थी। देश में हो रही व्यापक हिंसा पर रोक के लिए अधिकारियों ने लिया ये फैसला.

सरकारी वेबसाइट ली गयी हैक

सेंट्रल बैंक, प्रधानमंत्री और पुलिस की अधिकारिक वेबसाइट के तहत बांग्लादेश में प्रदर्शन जारी किया गया। ये हैकिंग द R3SISTANC3 ग्रुप ने की है। हैकिंग के दौरान वेबसाइट पर ये मैसेज लिखा हुआ था, “ऑपरेशन हंटडाउन, स्टूडेंट्स की हत्या बंद करो।” इसके साथ ही लाल पत्र में यह भी लिखा था, “अब इसका विरोध नहीं किया गया। यह एक युद्ध है। न्याय की लड़ाई शुरू हो गई है। खुद को तैयार कर लो।” आगे ने लिखा, “सरकार अपनी हरकतों को बंद कर रही है और हमारा मुंह बंद करने के लिए इंटरनेट बंद करा रही है।”

सार्वजनिक रैलियों पर लगा प्रतिबंध

बांग्लादेश की राजधानी ढाका में सार्वजनिक रैली पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया गया है, क्योंकि सबसे पहले यह हिंसक प्रदर्शन देश की राजधानी ढाका से हुआ था। पुलिस प्रमुख हबीबुर रहमान ने कहा कि हमने ढाका में सभी प्रकार की रैली, जुलूस और सार्वजनिक समारोहों पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया है। इस बीच सरकार ने रेल सेवा पर भी रोक लगा दी है।

भारतीय उच्चायोग ने भारतीय नागरिकों के लिए एड्री की विज्ञप्ति जारी की

भारत के विदेश मंत्रालय ने बांग्लादेश में रह रहे भारतीय नागरिकों के लिए एड डिमांडरी जारी की है। एड फिशरी में कहा गया है कि वह किसी भी प्रकार की समस्या के लिए वहां उपस्थित होकर भारतीय उच्चायोग से संपर्क कर सकते हैं। इसके साथ ही उन्हें घर से कम आउट आर्च की सलाह भी दी गई है। भारतीय नागरिकों की सुरक्षा के लिए ऑनलाइन नंबर भी जारी किया गया है।

कैसे शुरू हुआ ये हिंसक प्रदर्शन?

बांग्लादेश में 56 प्रतिशत सरकारी किराने की दुकानें शामिल हैं। इनमें से 30 प्रतिशत नवीन वर्ष 1971 के मुक्ति संग्राम के स्वतंत्रता सेनानियों के वंशजों के लिए रिजर्व हैगो पाकिस्तान के खिलाफ जंग गर्ल थी। यह प्रदर्शन उत्सव 30 प्रतिशत पूर्वोत्तर को लेकर है। छात्रों का कहना है कि सरकार उन लोगों को एकजुट करना चाहती है जो शेख हसीना सरकार का समर्थन करते हैं। इसके साथ ही अन्य छात्रों का आरोप है कि सरकारी मेरिट के आधार पर सरकारी बेरोजगारी नहीं दी जा रही है। हालाँकि शेख़ हसीना ने उन लुईस को त्याग दिया है।

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