धर्म

सोमवती अमावस्या पर इन 5 जगह पर लगाएं दीपक, खुश होंगे पितर, बन जाएंगे बिगड़े काम

सोमवार के दिन आने वाले प्लैनेट को सोमवती फ्लास्क भी कहा जाता है। सोमवती के दिन कच्चे दूध में दही, पूरे शिव जी का अभिषेक करें और चौमुखी घी का दीपक जलाएं। इससे कार्य में आ रही रुकावटें ख़त्म होती हैं। सारा काम हुआ काम पूरा होता है।

सोमवती अमावस्ता पर पीपल के पेड़ पर जल निक्षेप करें और शाम को वहां तेल का दीपक लगाएं पीपल के नीचे पितृ सूक्त का पाठ करें।  इससे पितर आकर्षक होते हैं।  दरिद्रता का नाश होता है।

सोमवती अमावस्ता पर पीपल के पेड़ पर जल निक्षेप करें और शाम को वहां तेल का दीपक लगाएं पीपल के नीचे पितृ सूक्त का पाठ करें। इससे पितर आकर्षक होते हैं। दरिद्रता का नाश होता है।

सोमवती पर सूर्य के बाद पानी में डूबा हुआ दीपक प्रवाहित किया गया।  पितृ गण धरती पर आते हैं और सूर्य अपने लोक पर आते हैं।  पितृ लोक में समय उनके रास्ते में अँधेरा न हो, इसी कारण से ही पितरों के लिए दीप जलाते हैं।

सोमवती पर सूर्य के बाद पानी में डूबते सूरज को अस्त कर दिया गया। पितृ गण धरती पर आते हैं और सूर्य अपने लोक पर आते हैं। पितृ लोक में समय उनके रास्ते में अँधेरा न हो, इसी कारण से ही पितरों के लिए दीप जलते हैं।

सोमवती पर हनुमान जी के सामने दीपक जलाएं और सुंदर कांड या हनुमान चालीसा का पाठ करें।  इससे शत्रुओं का विनाश होता है।  शनि दोष से मुक्ति मिलती है।

सोमवती पर हनुमान जी के सामने दीपक जलाएं और सुंदर कांड या हनुमान चालीसा का पाठ करें। इससे शत्रुओं का विनाश होता है। शनि दोष से मुक्ति मिलती है।

ईशान के दिन रात को घर के ईशान कोण यानी उत्तर और पूर्व दिशा के बीच में दीपक से पितरों और मां लक्ष्मी दोनों की प्रार्थना की जाती है।  धन की समस्या हल होती है.

ईशान के दिन रात को घर के ईशान कोण अर्थात उत्तर और पूर्व दिशा के बीच में दीपक से पितरों और मां लक्ष्मी दोनों की प्रार्थना की जाती है। धन की समस्या हल होती है.

दुर्भाग्यवश शाम को लाल रंग के चश्मे के इस्तेमाल से केसर स्टूडियो घी का दीपक जलाना चाहिए।  इसके बाद श्रीसूक्त का पाठ करें जिससे लक्ष्मी जी घर में विराजमान होते हैं

दुर्भाग्यवश शाम को लाल रंग के चश्मे के इस्तेमाल से केसर स्टूडियो घी का दीपक जलाना चाहिए। इसके बाद श्रीसूक्त का पाठ करें जिससे लक्ष्मी जी घर में विराजमान होते हैं

प्रकाशित: 02 अप्रैल 2024 04:42 अपराह्न (IST)

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